छात्र-छात्राओं ने समर कैंप का उठाया लुत्फ, मनोरंजक औऱ ज्ञानवर्धक रहा शिविर

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बागेश्वर। खंड शिक्षा अधिकारी उमेद सिंह रावत ने कहा कि समर कैंप में जहां एक ओर बच्चे समूह में काम करना सीखते हैं वहीं दूसरी ओर उनके ज्ञान में भी अभिवृद्धि होती है। बच्चों की रचनात्मकता को उभारने में भी समर कैंप सहायक सिद्ध होते हैं। बीईओ राजकीय जूनियर हाईस्कूल रौल्याना में समर कैंप के समापन पर बच्चों को संबोधित कर रहे थे।
प्रधानाध्यापक नीरज पंत ने आख्या पेश करते हुए बताया कि तीन दिनी समर कैंप में बच्चों ने मानव कंकाल का मॉडल बनाना सीखा और हड्डियों की संकल्पना की समझ बनाई, दूसरे दिन ज्यामितीय घर का मॉडल बनाते हुए गणित में मापन और विभिन्न आकृतियों पर समझ विकसित की। तीसरे दिन डायरी लेखन की विधा को जाना।
सन्दर्भ दाता भुवन डसीला ने बच्चों को खेल खेल में विज्ञान, गणित के जटिल लगने वाली अवधारणा को समझाया और विपिन जोशी ने स्वतंत्र डायरी लेखन की विधा बच्चों को समझाई।
बीआरपी भुवन भट्ट ने कहा कि ब्लॉक के अन्य विद्यालयों में भी इन गतिविधियों को पहुंचाने की कोशिश की जाएगी।
समर कैंप के संचालन में राइका लोहार चौरा के प्रधानाचार्य डॉ हरेंद्र रावल, रेडक्रॉस के उमेश जोशी, स्काउट के जिला प्रशिक्षण आयुक्त भुवन डसीला, राईका सनगाड़ की हंसी फर्स्वाण, अजीम प्रेमजी फाउंडेशन के विपिन जोशी प्रवेश नौटियाल, शिक्षक दीपक पांडेय, भास्कर पंत, सोनू गोस्वामी का विशेष सहयोग रहा।